बुधवार, 30 मार्च 2011

केयरफुल हु यु किस -केविटीज़ कैन बी कन्तेजीयअस .

केयरफुल हु यु किस -केविटीज़ कैन बी कन्तेजियास .-हेल्थ .कॉम
अकसर माँ अपने बच्चे को अपने हाथ से ही खिलाती है साथ में ये भी देखती है खाना कहीं ज़रुरत से ज्यादा गरम तो नहीं है इस चक्कर में वह खाने को पहले खुद चखती है फिर बच्चे को उन्हीं हाथों से खिलादेती है ।
बस लार में मौजूद दांतोंको खोखला बनाने वाला जीवाणु (केविटी कौजिंग बेक्टीरिया )इसी रास्ते बच्चे तक पहुच सकता है .बेहतर हो माँ खाने को फूंक मारकर ठंडा करले ताकि कमसे कम ख़तरा हो ज़रासीम बच्चे तक पहुँच सकने का ।
तमाम तरह के जर्म्स और विषाणुओं का हमारे मुख में डेरा होता है ,केविटीज़ फोर्मिंग बेक्तीरियाज़ भी इनमे शरीक हैं इसलिए ज़रूरी है ओरल हाइजीन का स्तर देखते हुए ही किसी का चुम्बन आलिंगन किया जाए .आपके पार्टनर को गम डिजीज होने पर ,केविटीज़ होने पर आप भी इसकी चपेट में आ सकतें हैं .आखिर कितने व्यक्ति आपके इनर सर्किल में हैं जो साल छ :महीने में दन्त चिकित्सक तक पहुंचतें हैं ,दांतों की मंजाई(स्केलिंग )के लिए ?ज़रा जायज़ा लेके देखिये .चौंकाने वाले तथ्य सामने आयेंगें ।
देखिये कितने लोग नियमित फ्लोसिंग और ब्रशिंग करतें हैं हरेक "मील" के बाद .काफी कुछ अंदाजा हो जाएगा आपको ,सुरक्षित और अ -सुरक्षित किस का ।
"सुगर- फ्री- गम "की च्युइंग सरल उपाय है ओरल हाइजीन को बनाए रखने का .ज्यादा लार पैदा करवा कर यह "गम " जीवाणुओं को दूर रखता है ।
यु नीड नोट टू गो टर्की ऑन किसिंग -फ्यू .बस परख लीजिये साथी की हाइजीन।
रूप की आराधना का मार्ग आलिंगन नहीं तो और क्या है ,
स्नेह का, सौन्दर्य को, उपहार, रस चुम्बन -नहीं तो ,और क्या है .

1 टिप्पणी:

Dr. Zakir Ali Rajnish ने कहा…

अरे वाह, च्‍युंगगम का यह लाभ तो मैंने नहीं सोचा था।

अच्‍छा लगा, कभी कभी खा लेता हूं न।

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विलुप्‍त हो जाएगा इंसान?
कहाँ ले जाएगी, ये लड़कों की चाहत?