ब्लड सुगर स्पाइक की भी वजह बन सकती है शराब ?
कार्बो -हाई -ड्रेट्स युक्त मीठी शराब ,बीयर ,स्वीटर वाइन्स या फिर जूस के साथ ली गई शराब ब्लड सुगर को इक दम से बढा सकती है .ऐसे में कार्बो -हाई -ड्रेट्स के सही मानी -तरनमें भी डायबेटिक व्यक्ति से चूक हो सकती है .(ड्राई -वाइन्स ,लाईट बीयर्स तथा सुगर फ्री के साथ मिक्स्ड ड्रिंक्स अपेक्षाकृत निरापद होंगी .ड्राई -यर दी ड्रिंक लेसर दी सुगर्स इन इट ।
वजन कमकरने घटाने में आड़े आती है शराब :
एम्प्टी केलोरीज़ होतीं हैं शराब में (खासकर उनमे जो सीरियल्स , अनाजों के स्तेमाल से नहीं बनाई जातीं हैं )जबकि शराब का पोषण मान कुछ भी नहीं है .कोई पुष्टिकर तत्व नहीं हैं शराब में .
वजन घटाने के लिए यदि आप कोई भी मील प्लान /क्रेश कोर्स कर रहें हैं तब शराब से हासिल केलोरीज़ को भी उस दिन के मील में शामिल करना होगा ।
इक स्टेंडर्ड ड्रिंक का सीधा मतलब है ९० केलोरीज़ ,इक ग्लास वाइन में १०० केलोरीज़ (केलोरीज़ का अपना गणित है भले कोई कहे रेड /वाईट वाइन्स दिल के लिए अच्छी हैं .लेकिन शराब से चढ़ने वाला मोटापा दिल के लिए अच्छा नहीं है न मधुमेही के लिए .वाइन्स आर नोट टेलर मेड ,माइंड ।
ज़ाहिर है वेट बढाने के साथ साथ ब्लड सुगर भी बढ़ाती है शराब .भूख से ज्यादा खा जाता है आदमी ड्रिंक्स के साथ .भारतीय तो तला भुना तीखा नमकीन साथ में खूब उडातें हैं ऐसे में क्या करेगी वाइन और क्या करेगी शराब ड्राई या स्वीटर ?
इक बात और :यदि शराब पीने से पहले ब्लड सुगर बहुत कम या ज्यादा है ,शराब का सेवन न करें .यदि पी ली है तो सोने से पहले भी ब्लड सुगर देख लें यदि कम है तो कुछ स्नेक्स या फास्ट एक्टिंग सुगर (ग्लूकोज़ टेबलेट्स लेलें सोने से पहले ).पार्टीज़ में अपना डायबिटीज़ स्टेटस (ए बी सी डी कार्ड /आई डी )साथ रखें .आपके यार दोस्तों को खबर हो आप डायबेटिक हैं .
मंगलवार, 15 मार्च 2011
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