सोमवार, 7 मार्च 2011

विहंगावलोकन :व्हाट वाज़ दी बिग बेंग ?

अन्तरिक्ष और काल (स्पेस एंड टाइम )ऊर्जा और पदार्थ (एनर्जी एंड मैटर )अबसे तकरीबन १३.७ अरब वर्ष पहले जिस घटना से अस्तित्व में आये उस घटना का नाम है 'बिग बैंग '.प्रसव के क्षणों में यह सृष्टि आकार में लगभग न के बराबर ही थी ,बेहद सघन (इन्फिनित्ली डेंस ),अति -उत्तप्त (अन -इमेजिनेब्ली हॉट )तथा ऊर्जा से लबरेज थी ।
पलांश में ही अनगिन बुनियादी कण पैदा हो गए प्रसव के फ़ौरन बाद .इनका जन्म सृष्टि के ठंडा होने के साथ ही उसी आदिम ऊर्जा से हुआ .इसके कुछ हज़ार साल बाद ही इन बुनियादी कणों से सृष्टि के पहले परमाणु अस्तित्व में आगये .बहुत कम समझा गया है 'बिग बैंग' को :
बिग बैंग पदार्थ का अन्तरिक्ष में विस्फोट न था ,खुद अन्तरिक्ष का विस्तार फैलाव था .यह विस्तार इक साथ सब जगह संपन्न हो रहा था .भौतिकी के माहिर यह नहीं बतला सकते ,सृष्टि के उन शुरूआती पल छिनों(इन दी फस्ट इन्स्तेंट्स आफ्टर दी बिग बैंग )क्या हुआ था उस वेला जिसे 'प्लांक ईअरा 'कहतें हैं .लेकिन इस प्लांक युग /प्लांक अवधि के फ़ौरन बाद गुरुत्वबल सृष्टि के अन्य बुनियादी बलों से छिटक कर अलग हो गया था .इसके बाद 'स्ट्रोंग न्यूक्लीयर फोर्फ़ '(शक्ति शाली नाभिकीय बल )भी इनसे अलग हो गया था ।
कई माहिर ऐसा मानते समझतें हैं ,इसी अलगाव की घटना ने 'इन्फ्लेशन 'को पंख लगाए .इस दरमियान सृष्टि का कम(शोर्ट ) लेकिन बहुत तेज़ी से विस्तार -फैलाव हुआ .इसीलिए सृष्टि स्मूथ (एकसार और फ्लेट /सपाट )दिखलाई देती है ।
इन्फ्लेशन (विस्तार -फैलाव )के दौरान बे -हिसाब द्रवयमान-ऊर्जा (मॉस -एनर्जी )अस्तित्व में आये .लेकिन साथ साथ रिनात्मक गुरुत्व ऊर्जा भी चली आई .
"ड्यूरिंग इन्फ्लेशन ,ए फेन्तेसतिक अमाउंट ऑफ़ मॉस -एनर्जी केम इनटू एग्ज़िस्तेंस ,इन टेंदम विद एन इक्युअल बट निगेटिव अमाउंट ऑफ़ ग्रेविटेशनल एनर्जी ।"
इस विस्तार के आखिरी चरण में पदार्थ का प्रादुर्भाव हुआ ,पदार्थ अस्तित्व में आगया था .(ज़ारी ....)

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