भोजन में केलोरीज़ की मात्रा घटाकर तृप्ति का अनुभव कैसे कर सकता है इक डायबेटिक?
हमारी भूख को हमारा मस्तिष्क काबू में रखता है यही हाइपो -थेलेमस को संकेत भेजता है ,भोजन की आवश्यकता है या नहीं है ।
पेट भरा न होने पर मष्तिष्क हाइपो -थेलेमस को कोई भी सिग्नल नहीं भेजेगा ऐसे में हमें निरंतर भूख लगती रहेगी और हम जो खाद्य पदार्थ सामने आयेगा उसे खा जायेंगें भले वह हमारी सेहत के अनुकूल हो न हो ,ब्लस सुगर बढाए न बढाए ।
इसलिए मधुमेह रोगी को पेट भर खा लेना चाहिए ।
सामान्य वजन वाले मधु मह रोगी को वैसे भी खुराकी केलोरीज़ कम करने की ज़रुरत ही क्या है हाँ अगर वह ओवर वेट है तो ऐसा कर सकता है .ऐसे में सलाद का ज्यादा से ज्यादा सेवन , कच्चे पक्के फल (जो ज्यादा मीठे न हों ),तमाम रेशेदार पदार्थ लिए जा सकतें हैं .आटे में ऊपर से और भी चोकर (भूसी ,बूर )मिलाई जा सकती है .भरन्वा रोटी /पराठा (रेशेदार सब्जियों से भरा )लिया जा सकता है .इससे वजन के साथ साथ ब्लड ग्लूकोज़ भी नियंत्रित रहेगा ।
हाइपो -थेलेमस ?
इट इज दी रीजन ऑफ़ दी फोरब्रेन इन दी फ्लोर ऑफ़ दी थर्ड वेंत्रिकिल लिंक्ड विद दी थेलामस अबव एंड दी पित्युतिरी ग्लैंड बिलो॥
इटcontains सेवरल इम्पोर्टेंट सेंटर्स कंट्रोलिंग बॉडी टेम्प्रेचर्स ,थ्रस्ट ,हंगर ,एंड ईटिंग ,वाटर बेलेंस एंड सेक्स्युअल फंक्शन्स ।
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