मंगलवार, 12 अक्तूबर 2010

लेकिन इन माताओं का क्या करें ...(ज़ारी )

लेकिनं इन माताओं का क्या करें जो फीडर(मिल्क फीड )बच्चों को थमाकर निश्चिन्त होकर कार्टून फिल्म्स लगा देतीं हैं .आसन उपाय है इनके लिए यह बच्चों को उलझाए रखने का .झांसा देकर स्कूल रवाना करने का .मैं ऐसी कई माताओं (युवा माताओं )के बीच रहा हूँ अकसर सोचता हुआ ,काश इन्हें मालूम होता ,वीडियो -ऑडियो -फटीग क्या चीज़ है .कौन से कल्पना लोक की सैर करा रहीं हैं ये सायास अपने नौनिहालों को जायों को ?सुबह शाम यही रूटीन बना दिया है इन्होनें बालकों का .(समाप्त )

2 टिप्‍पणियां:

माधव( Madhav) ने कहा…

nice post

virendra sharma ने कहा…

Thank u maadhav betaa .Now u r groing .Be-ware of T.V & Game consol.
veerubhai .