"आई डी डी एम्" संक्षिप्त रूप है 'इंसुलिन डिपेंडेंट डायबिटीज़ मिलाइट्स का .इसे प्राई -मैरी डायबिटीज़ भी कहा जाता है .इसे 'जुवेनाइल आन्सेट डायबिटीज़" के रूप में भी जाना जाता है क्योंकि यह १८ सालकी उम्र से पहले ही अपने लक्षण दिखा देता है .इस स्थिति में पेंक्रियाज़ (हमारा अग्नाशय )इंसुलिन नामक हारमोनबना ही नहीं पाताइसलिए ता -उम्र मरीज़ को इंसुलिन के सहारे रहना पड़ता है .इसीलिए इसे इंसुलिन आश्रित मधुमेह कहा जाता है ।
आमतौर पर किशोरावस्था में पाया जाता है इंसुलिन आश्रित मधुमेह .इसमें इंसुलिन बाहर से देना पड़ता है ताकी शरीर की हर कोशिका को ऊर्जा मिल सके .कोशिकाओं के लिए एक गेट /द्वार का काम करता मरीज का .
वजन कम होजाता है -इम्युनिटी है कारण mareez kaa vajan kam hojaataa hai .
शुक्रवार, 4 फ़रवरी 2011
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