शनिवार, 8 मई 2010

छात्रों के लिए "टाकिंग पिलो 'यानी तकिया मॉस- साहिब

दादी नानियाँ सोते समय हमारे नौनिहालों को किस्से कहानियां सुनातीं थीं .जागने पर उनका कुछ ना कुछ अंश तो याद रह ही जाता था ।
अब यही काम 'तकिया -मास्टर -जी 'करेंगें .इस तकिये के फाइबर्स में एक इन -बिल्ट स्पीकर समायोजित किया गया है .इसका सम्बन्ध किसी भी 'एम् पी थ्री प्लेयर 'या फिर सी डी -प्लेयर से भी जोड़ा जा सकता है .परीक्षा के दिनों में जब आप गहरी नींद ले रहे होंगें यह आपको दिन में आपके द्वारा याद किया गया पाठ सुनाएगा .क्लास रूम में आज पढ़े सबक को दोहराएगा ।यानी नींद के दौरान भी आप कुछ तो सीख ही रहे होंगें .
'साउंड एस्लीप 'नाम दिया गया है इस टाकिंग पिलो को जिसकी वर्तमान में कीमत है २० पोंड .
एक अमरीकी अध्धय्यन इसके डिजाइन में प्रयुक्त टेक्नोलोजी के समर्थन में कहता है .'रिविज़न रिमाइन्दर्स रिस्सीव्द ड्यूरिंग स्लीप केन बी ऋ -काल्ड ।यानी नींद के दौरान आपके लिए दोहराया गयाआपको सुनाया गया पाठ कुछ ना कुछ अंशों मे ,कमोबेश याद ही रहता है .
सन्दर्भ सामिग्री :-नाव ए टाकिंग पिलो फॉर स्त्युदेंट्स (दी टाइम्स ऑफ़ इंडिया ,मे ८ ,२०१० )

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