फिन्गोलिमोद(गिलेन्य ):इस दवा को मल्तिपिल स्केलेरोसिस के इलाज़ के लिए २०१० में खाने वाली दवा के रूप में अमरीकी खाद्य एवं दवा संस्था ने अपनी मंजूरी दे दी थी .
यह दवा लिम्फ़ोसाइत्स की संख्या को घटा देती है (लिम्फो -साइट्स हमारे खून में मौजूद वाईट ब्लड सेल्स जैसी ही कोशायें होतीं हैं जिनका इम्युनिटी (प्रति रक्षण )तथा इन्फ्लेमेशन की प्रक्रिया में बड़ा हाथ रहता है ।
यह दवा कैप्स्यूल के रूप में उपलब्ध है .यद्यपि यह एम् एस का समाधान (क्योर )नहीं है लेकिन यह एम् एस के फ्लेयर्स (लक्षणों के उग्र होने )तथा रोग से पैदा शारीरिक अक्षमताओं के बढ़ने को रोकती है जो समय के साथ बढ़तीं जातीं हैं .
लेकिन इन्जेक्तिबिल थिरेपीज़ की तरह इसकी भी दीर्घावधि स्तेमाल के बाद की निरापदता के बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता ।
हेडेक ,फ्ल्यू ,कमर दर्द ,डायरिया (अतिसार ),कफ तथा खून में लीवर एंजाइम्स का बढना इसके आम उत्तर प्रभाव (साइड इफेक्ट्स )हैं।
अलावा इसके बीनाई सम्बन्धी समस्या भी आड़े आ सकती है इसलिए इस दवा के स्तेमाल के साथ नियमित नेत्र जांच भी होती रहनी चाहिए ,
(ज़ारी ...).
मंगलवार, 31 मई 2011
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