कैन फिब -रोइड्स टर्न इनटू कैंसर ?
गर्भाशयीय गठाने अमूमन बिनाइन यानी निरापद ,असंक्राम्य (न्यूट्रल जिनसे दीर्घावधि भी कोई ख़तरा नहीं पहुंचता है ,बनी रहती हैं )।
अलबत्ता १००० फिब -रोइड्स के मामलों में कोई एक कैंसर -कारी (मलिग्नेनेट ) भी हो सकता है .इसे तब कहा जाता है -"लियो -मायो -सर्कोमा"।
माहिरों का ऐसा भी मानना है ये कैनसर्स(लियोमायोसर्कोमा ) पहले से मौजूद फिब -रोइड की वजह से नहीं होता है ।
फ़िब्रोइद्स का बना रहना मलिग्नेंत /कैन -सरस /कैंसर पैदा करने वाले फिब -रोइड के जोखिम को नहीं बढाता है .न ही गर्भाशयके दूसरी किस्म के कैंसरों के खतरे को बढाता है .
गुरुवार, 19 मई 2011
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