मिथ या यथार्थ :मिठाई ज्यादा खाने से डायबिटीज़ रोग हो जाता है ।
मीठी चीज़ें खाने से डायबिटीज़ का होना महज़ एक मिथ है यथार्थ नहीं .मीठी चीज़ें खाने से डायबिटीज़ नहीं होता है .अलबत्ता डायबिटीज़ से ग्रस्त लोगों के लिए यह ज़रूरी है वह शक्कर के सेवन को नियंत्रित रखें .उनका शरीर शक्कर को ठीक से ठिकाने नहीं लगा पाता।
शरीर में प्रवाहित खून में मौजूद शक्कर और इंसुलिन के बीच तालमेल का ठीक से नहीं बैठ पाना (मिसमैच बिटवीन सुगर इन दी ब्लड स्ट्रीम एंड इंसुलिन रिसल्ट्स इन डायबिटीज़ )।
इंसुलिन HI वह HAARMON है JO KHOON ME SHAKKAR KE STR KAA viniayman kartaa है .pratyek aadmi apne hisaab से subah ,dopahar और baad dopahr tathaa shaam और raatri के bhojan में शक्कर ki alag alag maatraa का सेवन kartaa है .एक svayam chaalit tarike से hamaaraa sharir is शक्कर को ठिकाने bhi lagaa detaa है .lekin डायबिटीज़ से ग्रस्त लोगों में aisaa नहीं हो पाता है .या to उनका agnaashay pooraa इंसुलिन hi नहीं bnaa पाता है या fir उनका शरीर इंसुलिन prati -rodh darshaane lagtaa है ,और इंसुलिन hi ठीक से kaam नहीं kar पाता है ।khaaskar jab unke parivaar में यह रोग chaltaa aayaa हो .kul milaakar penkriyaaz normal renz को kaayam hi नहीं rakh पाता है .
डायबिटीज़ के sang saath jivan yaapan karne vaale log kabhi kabhaar zam kar man pasand khaa bhi leten hain ,इंसुलिन ki doz bhi usi के anuroop badhaanaa seekh jaaten hain .hamaaraa svasth शरीर bhi to yahi kartaa है .शक्कर ज्यादा खाने par apekshaakrit ज्यादा इंसुलिन banaa letaa है .और atirikt शक्कर का chay -apchayan kar letaa है .metaabolaaiz kar letaa है ,faaltu शक्कर को ।
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