कोम्प्लिकेसंस (पेचीलापन और जटिलताएं क्या- क्या पेश आ सकतीं हैं एपिलेप्सी में )?
(१)सीखने में लर्निंग में ,दिक्कत पेश आ सकती है .
(२ )फिट पड़ने के दरमियान तरल फेफड़ों में दाखिल हो सकता है .जिसकी वजह से एस्पिरेशन न्युमोनिया भी हो सकता है ।
(३)गिरने से चोट लग सकती है ,सीज़र के दौरान व्यक्ति अपनेही किसी अंग को भी काट सकता है अपने ही मुंह से .
(४)ड्राइविंग के दौरान किसी मशीन पर काम करते हुए दौरा (फिट्स )पड़ने पर गंभीर चोट लग सकती है ,दुर्घटना में मृत्यु भी हो सकती है ।
(५)कई एंटी -कन्वाल्सन दवाओं के पार्श्व प्रभाव में ,अ-वांच्छित असर में बर्थ दिफेक्ट्स भी शामिल हैं .ऐसे में संतान की इच्छुक एपिलेप्टिक महिलाओं को अपने डॉ से सलाह करनी चाहिए ताकि वह मेडिकेशन को एडजस्ट कर ले ।
(६)परमानेंट ब्रेन डेमेज भी हो सकता है ,एकके बाद एक दौरे पड़ते रहने से ,ब्रेन स्ट्रोक या कोई और नुकसानी भी उठानी पड़ सकती है .
(७)स्टेटस एपिलेप्तिकस:इन मामलों में सीजर्स दीर्घावधि बने रहतें हैं ,एक के बाद एक दौरे पड़ते रहतें हैं ,रिकवरी बिलकुल नहीं होती ।
(८)एंटी -कन्वल्शन मेडिकेसंस के अपने अवांछित पार्श्व प्रभाव हैं .ये प्रभाव भी कई तरह की समस्याएं पैदा करतें हैं ।
(ज़ारी ...).
बुधवार, 27 अप्रैल 2011
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