फेसबुक ,ट्वीटर तू ब्लेम फॉर १ इन ५ डिवोर्स इन यु एस .(दी टाइम्स ऑफ़ इंडिया ,मुंबई ,दिसंबर २ ,२०१० ,पृष्ठ १९ )।
बेशक भूमंडलीय स्तर पर फेसबुक और ट्वीटर और कई अन्य सोसल नेट्वर्किंग वेब -साइट्स ने दुनिया भए के भूले बिसरे लोगों को मिलाया है लेकिन एक ताज़ा अमरीकी सर्व कि माने तो अमरीका में हर पांचवें तलाक के पीछे फेसबुकजैसी वेब -साइटों का हाथ नजर आ रहा है जिसे अब एक साक्षी के रूप में प्रस्तुत किया जा रहा है ।
बेशक दुनिया सिकुड़ कर बहुत छोटी हो गई है .लेकिन अमरीकी अकादमी ऑफ़ मेट्रीमोनियल लाइयर्स के अनुसार इन वेब साइटों का स्तेमाल बे -वफाई के सबूत के बतौर ८० फीसद मामलों में बा -कायदा किया जा रहा है .सेक्सुअली एक्स्प्लिसित भाषा इसका सबब बन रही है जहां कुछ छिपाव की गुंजाइश ही नहीं है .अलावा इसके एक से एक तस्वीरें संबंधों का कच्चा चिठ्ठा खोल रहीं हैं .इसी से पति -पत्नी के बीच की खाई,संबंधों में पैदा दरारें न पाट सकने की हद तक बढ़ रही है।
इन सफीलों में वो दरारें हैं जिनमे बसके ,
नमी नहीं जाती ,ज़िंदगी है की जी नहीं जाती ।
मुझको ईसा बना दिया तुमने ,अब शिकायत भी की नहीं जाती ।
ye jubaan hamse see nahi jaati ,zindagee hai ki jee nahin jaati .
talaak ke maamlon me saakashay ke roop me jahaan "fesbuk "kaa stemaal vakeelon ne 66%maamlon me kiyaa vahin "Myspace " "aur "Tutor "ki hisse daari aise maamlon me 15%aur 5%feesad rahi hai .baaki sabki milaakar 14%.
sabhi maamlon me 'inappropriate sexual chats 'badi vajah rhi hai .
मुझको ईसा बना दिया तुमने ,अब शिकायत भी की नहीं जाती .
गुरुवार, 2 दिसंबर 2010
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1 टिप्पणी:
बाप रे
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