बुधवार, 16 जनवरी 2013

सुपर ब्रू बोले तो कोफी -टी

 केव (दक्षिण -पश्चिम ,लन्दन )के रॉयल वानस्पतिक उद्यान के शोध 

कर्ताओं ने कोफी पादप की पत्तियों को उबालकर बनाई गई चाय को' सुपर 

ब्र्यु 'बतलाया है .साइंसदानों के मुताबिक़ यह स्वाद में भी बेहतर है 

कड़वापण कम है इसमें .कोफी की तरह यह तेज़ भी नहीं है .अलावा इसके 

इसमें ऐसे यौगिक डेरा डाले हुए हैं जो मधुमेह और दिल की बीमारियों के 

खतरे के वजन को कम करते हैं .केफीन की मात्रा भी इसमें परम्परागत 

चाय और कोफी दोनों से कम है .

गुणों की खान यह चाय 'सुपर ब्रू '.इसमें मौजूद हैं एंटीओक्सिडेंट तथा 

एंटीइन्फ्लेमेट्री गुण .   

केव के अलावा मोंत्पेल्लिएर फ्रांस के शोधकर्ताओं ने भी इन कोफी पत्तियों 

का विश्लेषण किया है . 

बकौल इनके इन पत्तियों की तरफ तवज्जो न जाने की वजह कोफ़ी बीन्स 

बनी रहीं हैं .जबकि गुणवत्ता में कोफी बीन्स  'कोफी  -पत्ती ' के आगे कहीं 

नहीं ठहरती 

हैं .

इस बात के प्रमाण हैं ,इथियोपिया ,दक्षिणी सूडान तथा इंडोनेशिया वासी 

इन पत्तियों को उबालकर इनकी चाय बनाके पीते रहें हैं .अलबत्ता 1800s 

के दौरान इन पत्तियों के ब्रिटेन में आयात के ब्रितानी प्रयास असफल रहे 

थे .

कोफी पादप की 23 प्रजातियों का विश्लेषण करने के बाद शोधकर्ता इस 

नतीजे पे पहुंचे हैं ,कोफी -टी ,कोफी और ब्लेक तथा ग्रीन टी से सेहत को 

मिलने वाले लाभ के मामले में बाज़ी मार रही है .

यह पूरी रिपोर्ट अखबार दी डेली मेल ने भी प्रकाशित की है .

सन्दर्भ -सामिग्री :-

Brewing a healthy drink :Tea made from coffee leaves/POTENT 

POTION /TIMES TRENDS /TOI ,MUMBAI,JANUARY 

15,2013,P17

सुपर ब्रू बोले तो कोफी -टी 

3 टिप्‍पणियां:

Kailash Sharma ने कहा…

चलिए, जब मार्केट में मिलाने लगेगी तो उपयोग करके देखेंगे....

रविकर ने कहा…

सुन्दर प्रस्तुति ||
शुभ सलाह-
आभार ||

प्रवीण पाण्डेय ने कहा…

सेहतकारी पेय, सुबह के लिये एक और विकल्प।