अखिलेश यादव मंत्रिमंडल में एक छोर पर समाजवादी पार्टी को जिहादी
मानसिकता को सौंपने वाले आज़मखान और आज़मखान सोच के लोग हैं, जो
देश विरोधी बयान जारी करते हैं। नेहरू की 'यूएनओ ब्लंडर' को दोहराने की
बात करते हैं तो दूसरे छोर पर बहराइच विधानसभाई क्षेत्र से विधायक बंसीधर
बौद्ध हैं। जो वीआईपी कल्चर से हटके देश की किसानी और सारल्य की तस्वीर
प्रस्तुत करते हैं। सीधे सच्चे आम आदमी लगते हैं बंसीधर बौद्ध। भारतीय
राजनीति के शानदार आदर्श।
फैसला मुलायम सिंह को करना है वह पार्टी का कौन सा चेहरा चाहते हैं।
मुलायम सिंह जी देश सब देख रहा है - आप लबारी लालू के अ -सहिष्णुता
कोरस में शामिल नहीं थे। देश को और आपकी पार्टी को कलंकित करने वाले
आज़म खान इख्लाख़ की दुर्भाग्य पूर्ण मौत को यूएनओ में ले जाने की धमकी
देकर देश और आपकी पार्टी को बदनाम कर रहे थे।
आप जानते हैं आज़म खान और अमर सिंह जी साथ साथ नहीं रह सकते। अब
अमर सिंह जी स्वस्थ होकर लौट आये हैं। उनका पार्टी में स्वागत कीजिये।
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