चहल कदमी डायबेटिक मेनेजमेंट का इक एहम हिस्सा है .बैठे ठाले आदमी मुटियाता है जिससे डायबेटिक कंट्रोल और भी मुश्किल हो जाता है ।
मधुमेह में शक्कर के बेहतर नियंत्रण के लिए सुबह और शाम आधा आधा घंटा की सैर ज़रूरी है ।
नियमित सैर चर्बी को हटाती है वजन को बढ़ने से रोकने में सहायक रहती है .केलोरी खर्ची के साथ ही मांसपेशियों में ब्लड सर्क्युलेसन (रक्त प्रवाह )बढ़ जाता है .सेहत भी अच्छी हो जाती है मधुमेह में ब्लड सुगर पर नियंत्रण भी .
यदि आप आधा घंटा ही सैर कर पातें हैं ,सुबह शाम १५ -१५ मिनिट में इसे बाँट लें ।
फिर दोहरादें मधुमेह रोगी को आधा से इक घंटा की नियमित सैर करनी चाहिए यह वजन घटाने और ब्लड सुगर पर काबू रखने में विधाई भूमिका निभाती है .
रविवार, 13 मार्च 2011
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